Author: UmaAbhi

अजमेर (वि.) | उत्तर पश्चिम रेलवे अजमेर मण्डल मे रेलवे सुरक्षा बलद्वारा मंडल सुरक्षा आयुक्त, अजमेर के निर्देशन में नवम्बर माह मे रेल सीमा मेंअनाधिकृत रुप से प्रवेश की रोकथाम के लिये 75 कार्यवाही की गई।इस दौरान रेल सीमा के समीप के गांवों, पंचायतो व स्कूलों में 275व्यक्तियों को समझाईश की गई तथा अनाधिकृत रुप से रेल सीमा में प्रवेश करनेवाले 34 व्यक्तियों के विरुद्ध रेलवे एक्ट की धारा 47 के तहत कार्यवाही करमामले दर्ज किये | इसी प्रकार अजमेर मण्डल रेलवे सुरक्षा बल द्वारा सवारी गाडियोंमें बिना उचित कारण चैन पुलिंग (एसीपी) की रोकथाम के लिए कार्यवाही कीगई 7 यात्रियों को जागरुक करने के लिये इस दौरान रेलवे सुरक्षा बल स्टाफ द्वारालाउड हैलर एवं पी.ए सिस्टम का उपयोग किया गया व यात्रियों को एसीपी नहीकरने हेतु पम्पलेट बांटे गये व समझाईश की गई | सवारी गाडियों में एसीपी कीरोकथाम हेतु एस्कोर्टिंग हेतु महिला व पुरुष बल सदस्यों को तैनात किया गया तथागाडियों के संचालन, समयपालन को सूचारु रखने के प्रयास किये गये | इस दौरानसवारी गाडियों में अनाधिकृत रुप से एसीपी करने वाले 80 व्यक्तियों के विरुद्धरेलवे सुरक्षा बल द्वारा रेलवे एक्ट की धारा 4 के तहत कार्यवाही करते हुएमामले दर्ज किये गये | जिस पर रेलवे कोर्ट द्वारा 27680/ रुपये जुर्माना किया गयासाथ ही अजमेर मण्डल से गुजरने वाली सवारी गाडियो में अनाधिकृत वैंडरो केविरूद्द भी अभियान चलाकर 3 व्यक्तियों के विरुद्ध रेलवे एक्ट की धारा 44 केतहत कार्यवाही कर मामले दर्ज किये गये । जिस पर रेलवे कार्ट द्वारा रुपये 530/महिलाओं के लिए आत्मरक्षा प्रशिक्षण शिविर आयोजितअजमेर डिस्कॉम महिलाओं को बेहतर वर्किंगएनवायरनमेंट देने के लिए प्रतिबद्ध-निर्वाणअजमेर (जसं) । अजमेर विद्युत वितरण निगम लिमिटेड द्वारा महिला अधिकरियों व कर्मचारियों हेतुउदयपुर कार्यालय में एक दिवसीय आत्म सुरक्षा प्रशिक्षण सत्र आयोजित किया गया। इस दौरान महिलाओं कोसाइबर सुरक्षा और धोखाधड़ी की रोकथाम के संबंध में सामान्य जागरूकता से संबंधित एक सत्र का भीआयोजन किया गया। इस दौरान मुख्य प्रशिक्षक श्री कलावत के एल तथा श्रीमती शकुन्तला पारीख रही।प्रशिक्षण शिविर के दौरान प्रबंध निदेशक एन एस निर्वाण ने सभी प्रशिक्षुओ से वीडियो कॉन्फेंसिंगके जरिये संवाद किया। प्रबंध निदेशक ने संबोधित करते हुए कहा कि अजमेर विद्युत वितरण निगम महिलाओको बेहतर वकिंग एनवायरमेंट एवं सर्वांगीण विकास के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि महिलाओं को अबआत्मनिर्भर होने के साथ साथ आत्मरक्षा के लिए भी जागरूक होना चाहिए। उन्होंने इस मौके पर कहा किनिकट भविष्य में अजमेर डिस्कॉम के सभी सर्किलों में महिलाओं के लिए आत्मरक्षा हेतु प्रशिक्षण शिविर केआयोजन कराए जाएंगे जिससे महिलाओं का आत्मविश्वास बढ़ेगा साथ ही उनकी कार्यक्षमता में भी सुधारहोगा।प्रशिक्षण के बारे में निगम के अधीक्षण अभियंता (प्रशिक्षण) बीएल गुप्ता ने बताया की अजमेरडिस्कॉम द्वारा आयोजित इस प्रशिक्षण में बांसवाड़ा , चित्तौड़गढ़, डूंगरपुर , प्रतापगढ़, उदयपुर तथा राजसमंद मेंकार्यरत एक्सईन, एईन, जेईन, कॉमर्शियल असिस्टेंट, सूचना सहायक, सहायक ,कनिष्ठ लेखाकार, सहायकलेखाधिकारी सहित कुल 50 महिला अधिकारियो /कर्मचारियो ने भाग लिया।गुप्ता ने बताया कि दो सत्रों मे आयोजित इस कार्यक्रम के प्रथम सत्र में- मन पर नियंत्रण तकनीकसकारात्मक दृष्टिकोण, अप्रत्याशित आकस्मिकताओं का सामना कैसे करे, समग्र कसरत, रक्षात्मक कीतकनीक और हमलावर मोड और इसी तरह द्वितीय सत्र- में -अवचेतन मन की तकनीक व्यक्तिगत, सुरक्षाअभ्यास- सरल हमला तकनीक जीवन सुरक्षा- घर/ सड़क/ कार्यालय और अन्य स्थानों पर सुरक्षा पहलू केबारे में बताया गया। इसी के साथ ही महिलाओं को साइबर फ्रॉड से बचने के लिए भी एक शिविर काआयोजन किया गया | जिसमे महिलाओं को साइबर सुरक्षा और धोखाधड़ी की रोकथाम के संबंध में जागरूककिया गया।प्रशिक्षण के दौरान अजमेर डिस्कॉम के संभागीय मुख्य अभियंता (उदयपुर जोन) एम एस झाला,जुर्माना किया गया।

Read More

अजमेर (जसं) । भारतीय खाद्य निगम जिला कार्यालय के अधीनस्थ राजस्व जिलों अजमेर एवं भीलवाड़ा में रबी विपणन वर्ष 2024-25 के तहत समर्थन मूल्य पर गेंहू की खरीद की जाएगी। इससे सभी किसनों को अपनी ‘फसल का न्यूनतम समर्थन मूल्य मिल सकेगा। भारतीय खाद्य निगम के मण्डल प्रबन्धक श्री शंकर खत्री ने बताया कि भारतीय खाद्य निगम द्वारा अजमेर, ब्यावर तथा केकडी में खरीद केन्द्र खोलना प्रस्तावित है। राज्य में भारतीय खाद्य निगम द्वारा संचालित खरीद केन्द्रों पर हर वर्ष की तरह रबी विपणन वर्ष 2024-25 के तहत गेंहू की खरीद का कार्य भारतीय खाद्य निगम डिपो ऑनलाईन सिस्टम के ई-प्रोक्योरमेन्ट मोडयूल के माध्यम से किया जाएगा। इसके लिए किसानो को अपना पंजीकरण पोर्टल एमएसपी राजस्थान पर ई-मित्र, अटल सेवा केन्द्र एवं अन्य माध्यम से करवाना होगा। किसान अपना गेहूं बेचते समय पंजीकरण पोर्टल से अपना टोकन जारी करवाए। इससे गेहूं खरीद सुविधापूर्वक हो सकेगी । साथ ही रविवार एवं सरकारी अवकाश के दिन टोकन जारी नहीं करवाना चाहिए। उन्होंने बताया कि किसान अपने जन आधार कार्ड तथा बैंक अकाउन्ट में मिसमैच त्रुटि को समय रहते ठीक करवाएं तथा जमीन की हकदारी सम्बन्धी विसंगितियों को ठीक करवाए । किसान अपनी गिरदावरी चेक करें एवं कोई भी त्रुटि हो तो उसे ठीक करवाए। भारत सरकार द्वारा इस वर्ष गेहूं की खरीद के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य 2275 रूपए प्रति क्तिटल निर्धारित किया गया है। भारत सरकार को अपनी नजदीकी खरीद केन्द्र पर फसल बुवाई की प्रमाणिकता के लिए आवश्यक दस्तावेजों की समस्त औपचरिकताएं पूरी करते हुए भारत सरकार के मापदण्डों के अनुसार साफ सुथरा गेंहू न्यूनतम समर्थन मूल्य पर सरकार को बेचने एवं उपज का उचित मूल्य प्राप्त करने के लिए अपील की गई है। भारतीय खाद्य निगम द्वारा उन्हें उनकी उपज का भुगतान सीधे उनके बैंक खातों में गूंहू बेचने के 48 घण्टों में नियमानुसार कर दिया जाएगा।

Read More

अजमेर (जसं) । विधानसभा आम चुनाव-2023 के दौरान स्वीप गतिविधियों के अन्तर्गत आयोजित प्रतियोगिताओं में श्रेष्ठ प्रदर्शन करने वालों को सम्मानित किया जाएगा। जिला निर्वाचन अधिकारी डॉ. भारती दीक्षित ने बताया कि अजमेर देगा वोट ऑनलाईन प्रतियोगिता में मतदाताओं को जागरूक करने के लिए आयोजित की गई प्रतियोगिता का परिणाम जारी किया गया है। तीन प्रकार की आयोजित प्रतियोगिताओं में प्रथम स्थान प्राप्त करने वाले प्रतिभागी को 45000 रूपए, द्वितीय स्थान प्राप्त करने वाले प्रतिभागी को 0000 रूपए, तृतीय स्थान प्राप्त करने वाले प्रतिभागी को 5000 रूपए तथा प्रशस्ति पत्र प्रदान किए जाएंगे। इन्हें 25 जनवरी को एवं राष्ट्रीय मतदाता दिवस को जिला स्तरीय समारोह में पुरस्कृत किया जाएगा। उन्होंने बताया कि मतदाता जागरूकता नवाचार प्रतियोगिताओं में प्रथम स्थान पर शिवांक कश्यप पुत्र सत्येन्र कश्यप, द्वितीय स्थान पर मनोज माली पुत्र सूरजमल माली, कुचील, किशनगढ़, तृतीय स्थान पर रूपेन्द्र नागर पुत्र राधेश्याम नागर आकोदिया किशनगढ़ एवं प्रकाश मेघवंशी पुत्र जगदीश राम मदनगंज किशनगढ़ रहे। द्वितीय प्रतियोगिता वोटिंग अपील में प्रथम स्थान पर हृदय माहेश्वरी पुत्र अंकुर माहेश्वरी ब्यावर मेरी शान मेश मतदान है €&9 २5000 ६9 २0000 69 २5000 रोड़, द्वितीय स्थान पर श्योदान पुत्र रघुनाथ तित्यारी किशनगढ़ एवं अशोक कुमार शर्मा पुत्र बालकिशन शर्मा मझेला रोड़ किशनगढ़ तथा तृतीय स्थान पर विश्म्भर दयाल बुनकर पुत्र रूपमल किशनगढ़ एवं काव्यांश पुत्र सत्यनारायण माधव कॉलोनी मदार ने प्राप्त किया। इसी प्रकार तृतीय प्रतियोगिता वोटिंग फिंगर में प्रथम स्थान पर परिधि शर्मा पुत्री दीपक कुमार शर्मा शिव कॉलोनी कुन्दन नगर एवं मुक्ता शर्मा पुत्री धनराज शर्मा सुभाष नगर, द्वितीय स्थान पर सीमा शर्मा पुत्री श्यामलाल शर्मा साकेत नगर ब्यावर एवं आशीष खानचंदानी पुत्र मनोज कुमार वोट ऑनलाइन प्रतियोगिता में सत्यनारायण ताजी समन्वयक एवं सहायक आचार्य, राजकीय अभियांत्रिक महाविघालय ने ऑनलाइन प्रतियोगिता के लिए वेबसाईट पोर्टल डिजाइन किया। इनके साथ ही अभियांत्रिक महाविद्यालय के रितिक माहेश्वरी एवं रक्षांक वर्मा ने सहयोग किया। इस प्रतियोगिता में 500 प्रतिभागियों एवं इस वेबसाईट पोर्टल को 628 मतदाताओं द्वारा देखा गया। उन्होंने बताया कि अजमेर देगा वोट प्रतियोगिताओं का परिणाम विशेष रूप से बनाए गए। निर्णायक दल के द्वारा जारी किया गया। इस दल द्वारा दिए गए परिणामों को परिणाम समन्वयक एवं प्रधानाचार्य मलका बक्ष के साथ 8 प्रधानाचार्या के दल ने पुनः परीक्षण किया । प्राप्त परिणामों की समीक्षा कर अंतिम निर्णय जिला कलक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी डॉ. भारती दीक्षित, मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं जिला स्वीप नोडल अधिकारी ललित गोयल, अतिरिक्त जिला कलक्टर एवं उप जिला निर्वाचन अधिकारी राजेन्र सिंह, जिला समन्वयक रामविलास जांगिड़ एवं कार्यकारी सचिव दर्शना शर्मा एवं के द्वारा जारी किया गया। 222 प्रकरण हुए निस्तारित अजमेर (जसं) । दिसम्बर माह ग्राम पंचायत स्तरीय आयोजित पत्र सुनवाई में 222 प्रकरण निस्तारित का आमजन को राहत प्रदान की गई। लोक सेवाओं की सहायक निदेशक सुमन शर्मा ने बताया कि त्रिस्तरीय जनसुनवाई में से ग्राम पंचायत स्तरीय जन सुनवाई का आयोजन दिसम्बर माह के प्रथम गुरूवार को जिले की 39 में से 38 ग्राम पंचायतों पर आयोजित हुई। मावशिया श्री नगर में उपचुनाव के कारण आचार संहिता लागू होने से वहां जन सुनवाई का आयोजन नहीं किया गया। इस जन सुनवाई के दौरान प्राप्त 747 प्रकरणों में से 222 का मौके पर ही निस्तारण कर आमजन को राहत प्रदान की गई। शेष प्रकरणों के निस्तारण के लिए सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया गया।

Read More

अजमेर । राजस्थान के अजमेर में एक महिला से गैंगरेप का मामला सामने आया है। तीन लोगों ने अपहरण कर बंधक बनाकर गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया। इस दौरान आरोपियों ने उसका अश्लील वीडियो भी बना लिया। पीड़िता के विरोध करने पर अरोपी ने उसे जान से मारने की धमकी दी। आरोपी ने घटना के बारे में किसी को बताने पर वीडियो वायरल करने की धमकी दी। इसके बाद आरोपी उसे गांव के बीच रास्ते पर पटक कर फरार हो गए। घर पहुंचकर पीड़िता ने परिजनों को आपबीती सुनाई । पीड़िता ने आरोपियों के खिलाफ जवाजा थाना क्षेत्र रिपोर्ट दर्ज करवाई है। पुलिस ने विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने बताया कि जवाजा ‘फोन करके बुलाया। आरोप है कि इस दौरान आरोपी प्रवीण ने उसे नशीली कोल्डड्रिंक पिलाई | कोल्ड ड्रिंक में नशीला पदार्थ मिला होने के कारण पीते ही महिला बेसुध हो गई | बेहोशी की हालत में आरोपी प्रवीण उसे जबरदस्ती बस से राजकोट ले गया। 5 महीने तक राजकोट में फैक्ट्री में रखा। फैक्ट्री में महिला और दो युवक पहले से ही मौजूद थे। इसके बाद आरोपी प्रवीण ने डरा धमकाकर उसके साथ दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया । इसके साथ ही दो अन्य व्यक्तियों ने भी महिला के साथ मारपीट कर धमकियां दी गई। पीड़िता ने पुलिस को बताया कि आरोपियों ने उसे नशीला पदार्थ पिलाकर 5 दिन राजकोट में बंधक बना रखा। इसके बाद आरोपी उसे गांधीधाम लेकर चले गए। उसे एक फ्लैट में बंधक बनाकर रखा गया। यहां भी प्रवीण के द्वारा उसके साथ दुष्कर्म किया गया। पीड़िता ने पुलिस को बताया कि आरोपियों के द्वारा उसे धमकाकर भीलवाड़ा लेकर गए और महिला की ओर से उसके साथ मारपीट की गई। इसके साथ ही एक कमरे में बंद कर उसकी अश्लील वीडियो बनाने के साथ ही आरोपी प्रवीण व महिला ने घटना के बारे में किसी को भी नहीं बताने की धमकी दी। पीड़िता ने बताया कि नवंबर 2023 में आरोपी उसे गांव के बीच रास्ते ‘पर पटक कर फरार हो गए। इसके बाद से सभी उसे बार-बार फोन कर जान से मारने की धमकियां दे रहे हैं। आरोपियों की धमकियों से परेशान होकर पीड़िता ने परिजनों को आपबीती सुनाई । इसके बाद पीड़िता ने तीनों आरोपियों के खिलाफ जवाजा थाना पुलिस में रिपोर्ट दर्ज करवाई। पुलिस ने तीनों आरोपियों के खिलाफ विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है। पुलिस मामले की जांच में जुटी है।

Read More

अजमेर (वि.)। श्री अजमेर व्यापारिक महासंघ के पदाधिकारियों ने वरिष्ठ नागरिक मानमल गोयल की अध्यक्षता में होटल रीगल आयोजित मीटिंग में महासंघ के वरिष्ठ उपाध्यक्ष और गंज के अध्यक्ष मानमल गोयल ने बताया कि उर्स मेला मेला क्षेत्र में प्रतिदिन विक्रय की जाने वाली सामग्री एवं जरूरत की सामग्री के साथ साथ वरिष्ठ नागरिको,विकलांग नारिको के आवागमन और सामग्री, दूध,कपडा, कम्बल, सब्जी, फल, बर्फ, वजनदार सामग्री को लाने ले जाने वाले वाहनों को प्रवेश हेतु श्री अजमेर व्यापारिक महासंघ के पदाधिकारियो के साथ वार्ता करके शीघ्र से शीघ्र अनुमति प्रदान की जानी चाहिये। श्री अजमेर व्यापारिक महासंघ के संस्थापक व महासचिव रमेश लालवानी ने बताया कि महासंघ के पदाधिकारियो को मेला क्षेत्र के व्यापारियों ने बताया कि उर्स मेले के अन्तर्गत उनके विक्रय के माल के वाहनो को दिन में एक बार आने व जाने की अनुमति शीश्र से शीघ्र प्रदान की जाये गंज के सचिव अमित गोयल ने बताया कि होटल व्यवसाय से जुडे बैड शीटस लीनन की एवं रेसटोरेनट की सामग्री को भी लाने ले जाने के लिए वाहनो की अनुमति देहली गेट के बाहर तक के व्यापारियों को सरल नियमो के तहत प्रदान की जानी चाहिये। महासंघ के अध्यक्ष महेन्द्र बंसल, कार्यकारी अध्यक्ष राजेन्द्र सिंह निर्वाण, सलाहकार जोधा टेकचन्दानी, विधी सलाहकार लीलाराम सीरनानी, देहली गेट के अध्यक्ष जशन वरलानी व्यापारिक ऐसोसिएशन गंज के कार्यकारी अध्यक्ष प्रकाश अगन छबलानी, राजेश लालवानी ने बताया कि उनकी दूध व दही से सम्बंधित सामग्री की डेयरी है उस हेतु प्रतिदिन ग्रामीण क्षेत्र से पिक अप गाडी में दुध आता है ऐसे ही अनेक अन्य प्रतिदिन प्रयोग आने वाली भारी वाहनो के माध्यम से विक्रय के लिए आती है उन वाहनो को दिन में एक बार प्रवेश की अनुमति जिला प्रशासन की ओर से प्रदान करके यातायात निरीक्षक कार्यालय मे उनके कर्मचारियों व अधिकारियो को प्रदान की जाये ताकि व्यापारियो के माल को मेला क्षेत्र में विक्रय के लए लाने में असुविधा नही हो। श्री अजमेर व्यापारिक महासंघ के अध्यक्ष महेन्द्र बंसल और सस्थापक व महासचिव रमेश लालवानी ने जिलाधीश डा.भारती दीक्षित ,और अतिरिक्त जिलाधीश शहर परसाराम सैनी से आगामी जनवरी में मेला क्षेत्र में व्यापारियो के विक्रय की सामग्री लाने ले जाने की अनुमति प्रदान करने की कार्यवाही की व्यवस्था की जाये।

Read More

जयपुर (जसं) । भारत सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के सचिव श्री सुधांश पंत ने कहा कि केन्द्र प्रवर्तित स्वास्थ्य योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वयन कर राजस्थान ने स्वास्थ्य मानकों में सुधार किया है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य से संबंधित इन योजनाओं एवं कार्यक्रमों में राजस्थान शत-प्रतिशत लक्ष्य हासिल कर स्वस्थ एवं समृद्ध भारत का संकल्प साकार करे। श्री पंत स्वास्थ्य भवन में प्रदेश में संचालित केन्द्र प्रवर्तित स्वास्थ्य योजनाओं एवं कार्यक्रमों की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राजस्थान में टीकाकरण, टीबी, संस्थागत प्रसव, शिशु लिंगानुपात आदि क्षेत्रों में बेहतर कार्य हुआ है। इन क्षेत्रों में और प्रतिबद्धता के साथ काम कर राजस्थान अव्वल पायदान पर पहुंचने का प्रयास करे। विकसित भारत के संकल्प के तहत केन्द्र सरकार का लक्ष्य है कि हर व्यक्ति को बेहतरीन स्वास्थ्य सेवाएं सुलभ हों । कोई भी व्यक्ति इलाज से वंचित नहीं रहे। श्री सुधांश पंत ने कहा कि राज्यों में होने वाले अच्छे काम का प्रभाव ही राष्ट्रीय स्तर पर दिखाई देता है। उन्होंने कहा कि भारत सरकार ने चिकित्सा के क्षेत्र में आधारभूत ढांचे के सुदृढ़ीकरण के लिए आयुष्मान भारत हैल्थ इंफास्ट्रक्र मिशन शुरू किया है। इस मिशन के तहत प्रदेश में संचालित विभिन्न परियोजनाओं को गति देकर उनको तय समय में पूरा किया जाए ताकि आमजन को इन स्वास्थ्य सेवाओं का जल्द से जल्द लाभ मिल सके। उन्होंने विकसित भारत संकल्प यात्रा के दौरान आयोजित स्वास्थ्य शिविरों में विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों का लाभ अधिकाधिक पात्र लोगों तक पहुँचाने के निर्देश दिए । उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री जनआरोग्य योजना, निक्षय मित्र योजना, प्रधानमंत्री भारतीय जनओऔषधि केन्द्र, आयुष्मान आरोग्य मंदिर, राष्ट्रीय सिकल सैल एनीमिया उन्मूलन कार्यक्रम के तहत निर्धारित लक्ष्यों को जल्द से जल्द हासिल किया जाए। श्री पंत ने विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों की विस्तृत समीक्षा कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव श्रीमती शुभ्रा सिंह ने कहा कि भारत सरकार की अपेक्षा के अनुरूप राजस्थान स्वास्थ्य कार्यक्रमों एवं परियोजनाओं में निर्धारित लक्ष्यों को पूरी प्रतिबद्धता के साथ हासिल करने का प्रयास करेगा। आमजन को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं सुलभ हों, इस दृष्टि से हरसंभव अपेक्षित सुधार किया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में संचालित स्वास्थ्य परियोजनाओं को गति देकर उन्हें तय समय पूरा करने का प्रयास किया जाएगा। साथ ही इन परियोजनाओं में गुणवत्ता पर भी पूरा ध्यान दिया जा रहा है। श्रीमती सिंह ने बैठक में उपस्थित अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे केन्द्र सरकार की अपेक्षा के अनुरूप स्वास्थ्य कार्यक्रमों का सुचारू संचालन सुनिश्चित कर राजस्थान को अव्वल पायदान पर लाएं। उन्होंने कहा कि निचले स्तर तक योजनाओं का लाभ पहुंचाने के लिए हर स्तर पर प्रभावी मॉनिटरिंग भी सुनिश्चित हो। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के मिशन निदेशक डॉ. जितेन्द्र कुमार सोनी ने स्वागत सम्बोधन दिया एवं राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत संचालित स्वास्थ्य कार्यक्रमों की प्रगति से अवगत कराया। उन्होंने बताया कि टीबी, पीसीपीएनडीटी, टीकाकरण, मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य सहित अन्य क्षेत्रों में राजस्थान में उल्लेखनीय काम हुआ है। चिकित्सा शिक्षा आयुक्त श्री शिवप्रसाद नकाते ने प्रदेश में बन रहे नए मेडिकल कॉलेजों एवं नर्सिग कॉलेजों की प्रगति की जानकारी दी । उन्होंने कहा कि निर्माणाधीन मेडिकल कॉलेजों एवं अस्पतालों का कार्य जल्द से जल्द पूर्ण करने का प्रयास किया जा रहा है। राजस्थान स्टेट हैल्थ एश्योरेंस एजेंसी के संयुक्त मुख्य कार्यकारी अधिकरी श्री गौरव सैनी ने प्रधानमंत्री जनआरोग्य योजना के क्रियान्वयन ने संबंध में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि प्रदेश के करीब करोड़ 42 लाख परिवार स्वास्थ्य बीमा से कवर हैं। बैठक में राजस्थान स्टेट हैल्थ ‘एश्येरेंस एजेंसी की मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीमती शुचि त्यागी, राजस्थान मेडिकल सर्विसेज कॉरपोरेशन की प्रबंध निदेशक श्रीमती अनुपमा जोखाल, अतिरिक्त मिशन निदेशक एनएचएम श्रीमती प्रियंका गोस्वामी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। निदेशक जनस्वास्थ्य डॉ. रवि प्रकाश माथुर ने आभार व्यक्त किया।

Read More

अजमेर /संवाददाता। युवा मामले एवं खेल राज्यमंत्री अशोक चांदना, ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज राज्यमंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने मीनल डिफेंस एकेडमी कांवट, सीकर में राज्य स्तरीय जूनियर पुरुष एवं महिला कुश्ती प्रतियोगिता का शुभारंभ किया। कार्यक्रम में मुख्य अथिति खेल राज्यमंत्री अशोक चांदना ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नेतृत्व में राज्य सरकार ने ग्रामीण व शहरी ओलंपिक खेलों का आयोजन कर गांव-गांव के खिलाड़ियों को खेलों से जोड़ने का काम किया है | उन्होंने कहा कि ओलंपिक खेलों में 8से 80 वर्ष तक के ग्रामीणों ने उत्साह पूर्वक भाग लिया खेल राज्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने 600 से अधिक खिलाडयिों को सरकारी नौकरियां दी है राज्य के प्रतिभावान खिलाड़ियों को लगातार आगे बढ़ने का मौका दे रही है। कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि सैनिक साथ ही खिलाड़ियों को खेलो इंडिया के माध्यम से जोड़कर उनके सपनों को साकार करने का काम कर रही है। उन्होंने बताया कि खेलो इंडिया में राजस्थान ने इस वर्ष 48मेडल प्राप्त किए हैं तथा प्रदेश अंक तालिका में चौथे नंबर पर रहा है, जो अपने आप में एक बड़ी उपलब्धि है। खेल राज्य मंत्री ने कहा कि आज स्वास्थ्य लाभ के लिए खेलना बहुत जरूरी है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार निरंतर खेलो को बढ़ावा दे रही है और कल्याण, राज्यमंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने कहा कि राजस्थान सरकार खेलों और खिलाड़ियों को आगे बढ़ाने के लिए निरंतर प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार युवा खिलाडयों के भविष्य को बेहतर बनाने के लिए खेलों में सुविधाओं को बढ़ाने का भरसक कार्य कर रही है। इस दौरान विशिष्ट अतिथि विधायक नीमकाथाना सुरेश मोदी सहित अन्य जनप्रतिनिधि, ग्रामीणजन कार्यक्रम में उपस्थित रहे ।

Read More

अजमेर “संवाददाता। राजस्थान आवासन मण्डल के 54वें स्थापना दिवस के मौके पर आवासन आयुक्त पवन अरोड़ा ने कहा किकार्मिकों के जोश और मेहनत से मंडल नित नए कीर्तिमान कायम कर रहा है। उन्होंने कहा कि सभी का जोश इसी तरह कायम रहे और मंडल प्रदेश ही नहीं देश भर में प्रभावी कार्यशैली में मिसाल कायम करे। अरोड़ा ने मंडल मुख्यालय ” आवास भवन ”’ में स्थापित गणेश मंदिर में स्थापना दिवस के अवसर पर पूजा अर्चना कार्यक्रम में शिरकत कर रहे थे। उन्होंने इस अवसर पर कार्मिकों को अपने हाथों से मिठाई खिलाकर उन्हें बधाइयां और शुभकामनाएंदीं। आवासन आयुक्त ने कहा कि मंडल अधिकारियों-कर्मचारियों के बूते नित नए कीर्तिमान बन रहेहै, मंडल 4 से ज्यादा अवार्ड अपनी झोली में डाल चुका है। मंडल पिछले 4 वर्षो में सरप्लस आवासों में से 4.5 हजार से ज्यादा आवास बिक्री करचुका है और लगभग 4 हजार आवासों का निर्माण कर कब्जा भी दिया जा चुका है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जन आवास योजना के तहत 4.5 हजार आवासों का माह मार्च में कब्जा दे दिया जाएगा। इसके साथ ही आगामी ॥ मार्च को लगभग 4500 नए आवासों के लिए योजनाएं, लॉन्च करवाई जाएंगी । उन्होंने कहा कि मण्डल का टर्नओोवर अब बढकर कुल 8हजार करोड़ रूपयेको पारकरचुका है। इस अवसर पर गणेश की प्रतिमा को सजाया गया और मंत्रोच्चार के साथ पूजा अर्चना की गई। इस दौरान सचिव अल्पा चौधरी, वित्तीय सलाहकार संजय शर्मा, राजस्थान आवासन बोर्ड कर्मचारी संघ के कार्यकारी अध्यक्ष भगवती प्रसाद, महासचिव प्रदीप शर्मा, संयुक्त सचिव गोविंद नाटाणी सहित अधिकारी एवं कर्मचारीगण उपस्थित

Read More

भारतीय खेल जगत में उड़न परी के नाम से मशहूर पीटी उषा के भारतीय ओलंपिक एसोसिएशन के अध्यक्ष बनने के बाद अब लगने लगा है कि आने वाले समय में भारत में खेलों की दशा सुधरेगी। पीटी उषा स्वयं एक अंतरराष्ट्रीय स्तर की धावक रही है तथा भारतीय ओलंपिक एसोसिएशन के अध्यक्ष बनने वाली पहली महिला है। भारतीय ओलंपिक एसोसिएशन में अभी तक गैर खिलाड़ी व पुरुषों का ही वर्चस्व रहा है। यह पहला अवसर है जब संघ की अध्यक्ष के रूप में एक महिला और वह भी खिलाड़ी की नियुक्ति हुई है। खिलाड़ी होने के नाते पीटी उषा को खिलाड़ियों के समक्ष आने वाली सभी समस्याओं की पूरी जानकारी है। एक खिलाड़ी के रूप में उन्हें भी अपने कैरियर में विभिन्न समस्याओं का सामना करना पड़ा था। ऐसे में ओलंपिक संघ के अध्यक्ष के रूप में पीटी उषा भारत में खेल व खिलाड़ियों को दशा सुधारने की दिशा में कई बेहतर काम कर सकती है। अध्यक्ष के रूप में उन्हें जो अवसर मिला है। उसका फायदा आने वाले कई पीढ़ियों को मिल सकता है। भारतीय ओलंपिक संघ की पीटी उषा 5 वीं अध्यक्ष बनी है। इससे पूर्व चुने गए १4 अध्यक्षों में से कोई भी खिलाड़ी नहीं रहा है। 927 में भारतीय ओलंपिक संघ की स्थापना के समय दोराबजी टाटा पहले अध्यक्ष बने थे। वह प्रतिष्ठित टाटा समूह से जुड़े हुए थे। उनके बाद महाराजा भूपिंदर सिंह, महाराजा यदाविंद्र सिंह, भलिंद्र सिंह, ओमप्रकाश मेहरा, बलिंदर सिंह, विद्या चरण शुक्ला, शिवांथी अदिथन, सुरेश कलमाडी, विजय कुमार मल्होत्रा, सुरेश कलमाडी, अजय सिंह चैटाला, नारायण रामचंद्रन, नरिंदर बत्रा अध्यक्ष रह चुके हैं। भारतीय ओलंपिक संघ भारत की राष्ट्रीय ओलंपिक समिति है। जिसका कार्य ओलंपिक खेलों, एशियाई खेलों व अन्य अंतरराष्ट्रीय बहू खेल प्रतियोगिताओं में भारत का प्रतिनिधित्व करने वाले एथलीटों का चयन करना और भारतीय दल का प्रबंधन करना है। यह भारतीय राष्ट्रमंडल खेल संघ की तरह भी कार्य करता है तथा राष्ट्रमंडल खेलों में भारत का प्रतिनिधित्व करने वाले एथलीटों का भी चयन करता है। इस संघ के पदाधिकारियों का चुनाव प्रत्येक 4 वर्ष बाद होता है। भारतीय ओलंपिक समिति के सदस्यों में राष्ट्रीय खेल संघों, राज्य ओलंपिक संघ और अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति और अन्य चुनिंदा बहू खेल संगठनों के सदस्य शामिल हैं। अपने जमाने के दिग्गज धाविका पीटी उषा को भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) का पहला महिला अध्यक्ष चुनने से भारतीय खेल प्रशासन में एक नए युग की शुरुआत हुई है। एशियाई खेलों में कई पदक जीतने वाली और 984 के लॉस एंजलिस ओलंपिक खेलों में 400 मीटर की बाधा दौड़ में चौथे स्थान पर रही 58वर्षीय उषा को चुनाव के बाद शीर्ष पद के लिए निर्विरोध निर्वाचित घोषित किया गया। “पय्योली एक्सप्रेस’ और “उड़न परी’ के नाम से मशहूर रही पीटी उषा ने 2000 में संन्यास लेने से पहले भारतीय और एशियाई एथलेटिक्स में दो दशक तक अपना दबदबा बनाये रखा था। पिलावुलकंडी थेक्केपारंबिल उषा का जन्म 27 जून 964 में पय्योली गाँव में हुआ था। इन्हें पीटी उषा नाम से ही जाना जाता है। इनके पिता का नाम इ पी एम्‌ पैतल एवं माता का नाम टी वी लक्ष्मी है। इनके पहले कोच ओ एम. नम्बिअर थे। पीटी उषा ने एथलीट के तौर पर अपने अन्तराष्ट्रीय करियर की शुरुवात १980 में करांची में हुए ‘ पाकिस्तान ओपन नेशनल मीट’ से की थी । इस एथलीट मीट में पीटी उषा ने 4 गोल्ड मैडल भारत के नाम किये थे। इसके बाद 982 में पीटी उषा ने *वर्ल्‌ड जूनियर इनविटेशन मीट ‘ में हिस्सा लेकर 200 मीटर की रेस में गोल्ड मैडल एवं 00 मीटर की रेस में ब्रोंज मैडल जीता था। इसके एक साल बाद ही कृवैत में हुए “एशियन ट्रैक एंड फील्ड चैम्पियनशीप ‘ में पीटी उषा ने 400 मीटर की रेस में नया आप में एक रिकॉर्ड था। 989 में उन्होने दिल्ली में आयोजित ‘ एशियन ट्रैक फेडरेशन मीट ‘ में 4 गोल्ड मैडल एवं 2 सिल्वर मैडल जीते। 990 में’बीजिंग एशियन गेम्स ‘ में हिस्सा लिया । इस इवेंट के लिए पूरी तरह से तैयार नहीं होने के रिकॉर्ड कायम किया और गोल्ड मैडल जीता। 984 में लॉसएंजिल्स में हुए ओलंपिक में पीटी उषा ने सेमी फाइनल के पहले राउंड की 400 मीटर बाधा दौड़ को अच्छे से समाप्त कर लिया था। लेकिन इसके फाइनल में वे हार गई और उनको ब्रोंज मैडल नहीं मिल पाया था। हार के बाद भी पीटी उषा की यह उपलब्धि बहुत बड़ी थी। यह भारत के इतिहास में पहली बार हुआ था जब कोई महिला एथलीट ओलंपिक के किसी ‘फाइनल राउंड में पहुंची थी। इन्होने 55.42 सेकंड में रेस पूरी की थी ।जो आज भी भारत के इवेंटमें एक नेशनल रिकॉर्डहै। १985 में पीटी उषा ने इण्डोनेशिया के जकार्ता में “एशियन ट्रैक एंड फील्ड चैम्पियनशीप ‘ में हिस्सा लेकर 5 गोल्ड और १ ब्रोंज मैडल जीता। 986में सीओल में 0 वें “एशियन गेम्स ‘में 200 मीटर, 400 मीटर, 400 मीटर बाधा एवं 4 400 मीटर रिले रेस में हिस्सा लेकर पीटी उषा विजयी रहीं और चारों गोल्ड मैडल भारत के नाम कर दिया । एक ही इवेंट में एक ही एथलीट द्वारा इतने मैडल जीतना अपने बावजूद पी टी उषा ने 3 सिल्वर मैडल अपने नामकिये। १997 में इन्होने वी श्रीनिवासन से शादी कर ली। जिसके बाद इनका एक बेटा हुआ। 4998में अचानक सबको चौंकाते हुए 34 साल की उप्र में पीटी उषा ने एथलेटिक्स में वापसी कर दी और जापान के फुकुओका में आयोजित ‘ एशियन ट्रैक फेडरेशन मीट ‘ में हिस्सा लेकर 200 मीटर एवं 400 मीटर की रेस में ब्रोंज मैडल जीता । 34 साल की उम्र में पीटी उषा ने 200 मीटर की रेस में अपनी खुद की टाइमिंग में सुधर किया और एक नया नेशनल रिकॉर्ड कायम कर दिया। 2000 में पीटी उषा ने एथलेटिक्स से पूरी तरह से संन्यास ले लिया। मौजूदा समय में देश के अधिकांश खेल संघों के पदाधिकारियों पर भेदभाव के आरोप लगना आम बात हो गई है। खेल संघों मे गैर खिलाड़ियों व राजनेताओं के पदाधिकारी बनने से उनका ध्यान खेलों को बढ़ावा देने के बजाय अपने स्वार्थ साधना अधिक रहता है। इसी कारण बहुत से प्रतिभाशाली व योग्य खिलाड़ियों को मौका नहीं मिलने से पिछड़जाते ह

Read More

कोरोना काल के बाद से कई देशों की अर्थव्यवस्थाओं में मुद्रा स्फीति की समस्या विकराल रूप धारण करते हुए यह पिछले 40 से 50 वर्षों के अधिकतम स्तर पर पहुंच गई है। मुद्रा स्फीति की समस्या को हल करने के लिए इन देशों की केंद्रीय बैंक ब्याज दरों में लगातार वृद्धि की घोषणा करते जा रहे हैं। ब्याज दरों में वृद्धि इस उद्देश्य से की जा रही है ताकि इन देशों के नागरिक बैकों से ऋण लेने के लिए निरुत्साहित हो तथा वे अपनी बचतों को बैकों में जमा करने को प्रोत्साहित हो। इससे इन देशों के नागरिकों की खर्च करने की क्षमता कम होकर बाजार में उत्पादों की मांग कम हो जाए। बाजार में उत्पादों की मांग में कमी के चलते, इन उत्पादों की उपलब्धता, मांग की तुलना में, बाजार में बढ़ जाएगी जिससे इन उत्पादों की कीमतों में कमी होकर अंततः मुद्रा स्फीति पर अंकुश लग जाएगा। उक्त प्रकार के उपायों के माध्यम से मुद्रा स्फीति पर तेजी से अंकुश लगता दिखाई नहीं दे रहा है। परंतु, इन देशों , विशेष रूप से अमेरिका, ब्रिटेन, जर्मनी जैसे विकसित देशों, के केंद्रीय बैंकों द्वारा ब्याज दरों में लगातार की जा रही वृद्धि के कारण इन देशों में कई उत्पाद जरूर महंगे होते जा रहे हैं क्योंकि ब्याज लागत के लगातार बढ़ते जाने से इन कम्पनियों की औसत उत्पादन लागत में वृद्धि हो रही है एवं इससे अंततः इन कम्पनियों की लाभप्रदता पर विपरीत प्रभाव पड़ता दिखाई दे रहा है। अब इन कम्पनियों ने अपनी लाभप्रदता को बनाए रखने के लिए, अमानवीय पूंजीवादी नीतियों को अपनाते हुए, कर्मचारियों की छंटनी का आसान तरीका अपना लिया है। विशेष रूप से सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र की कई कम्पनियों ने नवम्बर 2022 के बाद से लगभग 2 लाख कर्मचारियों की छंटनी करने की घोषणा की है। विशेष रूप से अमेरिका की बड़ी बड़ी बहुराष्ट्रीय कम्पनियों ने भी कर्मचारियों की छंटनी करने सम्बंधी घोषणाएं की हैं। जैसे , गूगल की मातृ संस्था अल्फाबेट ने 2,000 इंजिनीयरों की छंटनी की घोषणा की है। माइक्रोसोफ्त की 0,000 इंजिनीयरों (कम्पनी में कार्यरत कुल इंजिनीयरों की संख्या का 5 प्रतिशत) की छंटनी करने की योजना है। इसी प्रकार, एमेजोन द्वारा १8,000, फेसबुक की मातृ संस्था मेटा द्वारा १,000 (कुल कर्मचारियों की संख्या का 3 प्रतिशत), ट्विटर द्वारा 7,500 कर्मचारियों की छंटनी करने की योजना बनाई गई है। कई कम्पनियों द्वारा तो भारी मात्रा में इंजिनीयरों एवं कर्मचारियों की छंटनी की भी जा चुकी है। इस प्रकार विकसित देशों द्वारा पूंजीवादी अर्थव्यवस्था से सबंधित उपायों को अपनाते हुए मुद्रा स्फीति को नियंत्रण में लाने हेतु ब्याज दरों में लगातार की जा रही वृद्धि का उपाय भी भयावह अमानवीय परिणाम देता हुआ दिखाई दे रहा है। उक्त वर्णित कई कम्पनियों द्वारा की जा रही छंटनी का सबसे अधिक असर अमेरिका में सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में कार्य कर रहे भारतीय इंजिनीयरों पर पड़ता हुआ दिखाई दे रहा है। एक अनुमान के अनुसार, अमेरिका में होने वाले इंजिनीयरों की कुल छंटनी को संख्या में से 30 से 40 प्रतिशत के बीच भारतीय इंजिनीयरों की छंटनी होने जा रही है। विशेष रूप से एचवनबी वीजा प्राप्त भारतीय इंजिनीयरों पर कुछ अधिक प्रभाव पड़ता दिखाई दे रहा है। क्योंकि, इन इंजिनीयरों को इनकी छंटनी की स्थिति में 60 दिनों के अंदर अमेरिका में ही अन्य रोजगार प्राप्त करना आवश्यक होगा अन्यथा अगले १0 दिनों में उन्हें अमेरिका छोड़कर किसी अन्य देश में जाना होगा। इन इंजिनीयरों के छोटे छोटे बच्चे, जो अमेरिकी स्कूलों में शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं, उनकी शिक्षा किस प्रकार प्रभावित होने जा रही है, यह हम केवल सोच ही सकते हैं। अतः इन विशेष परिस्थितियों के बीच निर्मित हुई उक्त समस्या का हल भारत सरकार एवं अमेरिकी सरकार द्वारा मिलकर सोचा जाना चाहिए प्रभावित होने जा रहे इंजिनीयरों के लिए 60 दिनों के अंदर दूसरा रोजगार प्राप्त करने सम्बंधी नियम को समाप्त कर दिया जाना चाहिए क्योंकि मंदी के इस माहौल में किसी अन्य कम्पनी में भी रोजगार प्राप्त करना आसान कार्य नहीं है। विशेष रूप से सूचना प्रौद्योगिकी क्षेत्र के इंजिनीयरों के लिए यह पल एक तरह से इम्तिहान के पल जैसे साबित हो रहे हैं। यह वर्ग अभी तक अमेरिकी अर्थव्यवस्था को आगे बढ़ाने में अपना पूर्ण योगदान देता आया है। अमेरिकी सरकार का भी अब कर्तव्य बनता हैकि आड़े वकूत में इन इंजिनियरों को नया रोजगार प्राप्त करने में मदद करे अथवा नया रोजगार प्राप्त करने सम्बंधी 60 दिवस की सीमा को खत्म कर दे। यदि अमेरिका इस सम्बंध में कोई सकारात्मक निर्णय नहीं लेता है तो इतनी बड़ी संख्या में प्रशिक्षित इंजिनीयरों को वह खो देगा एवं दीर्घअवधि में अमेरिका के लिए यह घाटे का सौदा साबित होगा। हालांकि भारत सरकार यदि चाहे तो अमेरिका में छंटनी का शिकार हो रहे इंजिनीयरों को भारत में ही नया रोजगार प्राप्त प्रदान करने सम्बंधी योजना पर भी विचार किया जा सकता है क्‍योंकि इंजिनीयरों का यह वर्ग उच्च शिक्षा प्राप्त एवं प्रशिक्षित वर्ग है। अमेरिका से भारत में वापिस लौटने वाले इंजिनीयरों को रिवर्स ब्रेन ड्रेन की संज्ञा भी दी जा सकती है और भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए यह लाभकारी सिद्ध होगा। भारत में आर्थिक विकास की दर लगातार तेज हो रही है अतः भारत में प्रशिक्षित इंजिनीयरों की मांग भी बनी हुई है। जैसा कि ऊपर बताया गया है कि ब्याज दर के लगातार बढ़ाते जाने से कई विकसित देशों की अर्थव्यवस्थाओं में मुद्रा स्फीति तो नियंत्रण में नहीं आ पा रही है परंतु अन्य कई प्रकार की अन्य आर्थिक समस्याएं जरूर उभरती नजर आ रही हैं। जैसे, कम्पनियों के व्यवसाय में कमी होना, कम्पनियों की लाभप्रदता में कमी होना, कर्मचारियों की छंटनी होना, करों के संग्रहण में कमी होना एवं बेरोजगारी का बढ़ना, आदि। इस कारण से अब यह सोचा जाना चाहिए कि इन परिस्थितियों में मुद्रा स्फीति को नियंत्रित करने के लिए ब्याज दरों का बढ़ाते जाना क्या सही उपाय है। इस तरह के उपाय पूर्व में विकसित अर्थव्यवस्थाओं, जिन्होंने पूंजीवादी मॉडल के अनुसार अपने आर्थिक विकास को आगे बढ़ाने का निर्णय लिया है, द्वारा किए जाते रहे हैं। जबकि, अब यह उपाय बोथरे साबित हो रहे हैं। इन परिस्थितियों के बीच, उत्पादों की मांग कम करने के उपाय के स्थान पर उत्पादों की…

Read More