लोकसभा चुनावों में मिली सफलता के बाद उपचुनाव में करारी हार ने राजस्थान कांग्रेस को झटका दिया है। पार्टी संगठन अब कमजोर दिखाई दे रहा है। इसी को लेकर प्रदेश नेतृत्व संगठन को नए सिरे से मजबूत करने की कवायद में जुट गया है।
डोटासरा की चेतावनी
राजस्थान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने स्पष्ट किया है कि जो पदाधिकारी पार्टी के लिए काम नहीं कर रहे हैं, उन्हें संगठन से हटाया जाएगा। सोमवार को राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी की बैठक में यह बड़ा निर्णय लिया गया।
बैठक के मुख्य बिंदु
- संगठन का फीडबैक:
- जिलों से फीडबैक लिया गया, जिसमें शिकायतें सामने आईं कि कई पदाधिकारी सिर्फ पद पर बैठे हैं लेकिन संगठन के लिए काम नहीं कर रहे हैं।
- बीजेपी की विफलताओं को उजागर करना:
- प्रदेश की भाजपा सरकार के खिलाफ अभियान शुरू करने की योजना पर चर्चा की गई।
- नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली की मौजूदगी में कार्यक्रमों की रूपरेखा तय की गई।
18 दिसंबर को कांग्रेस का पैदल मार्च
- राहुल गांधी द्वारा संसद में उठाए गए अडानी मुद्दे को राजस्थान में भी कांग्रेस ने बड़ा मुद्दा बनाया है।
- 18 दिसंबर को कांग्रेस जयपुर के शहीद स्मारक से राजभवन तक पैदल मार्च निकालेगी और अडानी की जांच की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन करेगी।
19 दिसंबर से प्रदेशव्यापी अभियान
- 19 दिसंबर से 1 माह तक:
- पार्टी कार्यकर्ता जनता के बीच जाकर भाजपा सरकार की विफलताओं और पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के जनकल्याणकारी कार्यों को गिनाएंगे।
- प्रेस वार्ता:
- 20-21 दिसंबर: संभाग मुख्यालयों पर वरिष्ठ नेता और जिला प्रभारी प्रेसवार्ता करेंगे।
- 22-23 दिसंबर: जिला मुख्यालयों पर प्रेसवार्ता।
- 24-25 दिसंबर: ब्लॉक स्तर पर भाजपा सरकार की नाकामियों को उजागर किया जाएगा।
कांग्रेस स्थापना दिवस के कार्यक्रम
- 27 दिसंबर: कांग्रेस स्थापना दिवस की पूर्व संध्या पर जिला स्तर पर कार्यक्रम होंगे।
- 28 दिसंबर: कांग्रेस स्थापना दिवस पर प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में मुख्य कार्यक्रम आयोजित होगा।
निष्कर्ष
कांग्रेस ने उपचुनाव में मिली हार से सबक लेते हुए संगठन की मजबूती पर फोकस करने और भाजपा सरकार की विफलताओं को जनता के सामने लाने की पूरी तैयारी कर ली है। डोटासरा के सख्त रुख से यह स्पष्ट है कि पार्टी में काम नहीं करने वालों की छुट्टी निश्चित है।
