अजमेर जिले के मदनगंज थाना पुलिस ने साइबर ठगों को बैंक खाता उपलब्ध कराने वाले तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर जयपुर साइबर पुलिस थाना आयुक्तालय के सुपुर्द किया है। ये आरोपी जयपुर के 83 वर्षीय बुजुर्ग, राजेंद्र कुमार माहेश्वरी से 90 लाख रुपये की ठगी करने वाले गिरोह से जुड़े थे।
क्या है मामला?
मदनगंज थाना प्रभारी शंभू सिंह शेखावत के अनुसार, तीनों आरोपियों ने ठगी की रकम से अजमेर के एक प्रतिष्ठित ज्वेलर्स की दुकान से सोने-चांदी के आभूषण खरीदे थे।
आरोपी: गोगराज मेघवंशी, दिनेश कुमार मीणा, और रवि मीणा उर्फ रोमन (सभी किशनगढ़ निवासी)।
मोडस ऑपरेंडी: ये साइबर ठगों को अलग-अलग दस्तावेजों के जरिए फर्जी बैंक खाते खुलवाने में मदद करते थे।
ठगी का तरीका और गिरफ्तारी
दिनांक: 18 नवंबर 2024
तीनों आरोपियों ने एक प्रतिष्ठित ज्वेलरी स्टोर से सोने की चेन और अंगूठी खरीदी, जिसका भुगतान आरटीजीएस के जरिए ठगी की रकम से किया गया।
भुगतान के बाद जयपुर साइबर पुलिस ने ज्वेलरी स्टोर के खाते को फ्रीज कर दिया।
पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज के आधार पर कार्रवाई करते हुए तीनों को गिरफ्तार किया।
जांच में हुए खुलासे
आरोपियों ने स्वीकार किया कि वे साइबर ठगों के साथ मिलकर फर्जी बैंक खाते खोलते और ठगी की रकम को निकालने में मदद करते थे।
इस मामले में जयपुर निवासी बुजुर्ग राजेंद्र कुमार माहेश्वरी के साथ 90 लाख रुपये की ठगी की गई थी।
प्रकरण संख्या 392/2024 के तहत यह मामला जयपुर साइबर पुलिस थाना में दर्ज है।
अगली कार्रवाई
पुलिस आरोपियों से पूछताछ कर ठगी के अन्य मामलों और शामिल लोगों के नेटवर्क का पता लगा रही है।
यह मामला साइबर अपराध और डिजिटल सुरक्षा के प्रति लोगों को सतर्क करने का एक बड़ा उदाहरण है।
निष्कर्ष:
अजमेर पुलिस की यह कार्रवाई साइबर अपराध के खिलाफ एक अहम कदम है। यह घटना दिखाती है कि डिजिटल ठगी के नेटवर्क में न केवल ठग शामिल होते हैं, बल्कि उन्हें सहायता देने वाले भी कानूनी दायरे में आते हैं।
